फिर में बोला कि जानू अब क्यों उधर देख रही हो और मैंने त्रप्ति से बिल्कुल antarvasna Kamukta hindi sex indian sex chudai Kahani चिपककर उसके गालों को किस किया तो वो मुझे घूरने लगी। फिर में बोला कि ऐसे मत देखो यार तो वो बोली कि तुम भी ना वो इतना ही बोल पाई और मैंने उसके सेक्सी से होंठो पर होंठ रख दिए। त्रप्ति इस अचानक हुए काम को समझ ना सकी, लेकिन एक ही मिनट में समझकर मेरा साथ देने लगी और में किस करते वक़्त सोच रहा था कि भगवान जो करता है अच्छे के लिए करता है और दोनों मस्त होकर किस कर रहे थे। तभी डोर बेल बज गयी और हम दोनों फट से अलग हुए और त्रप्ति अपने को ठीक करते हुए दरवाजा खोलने गई और वापस आते समय उसके साथ अनुज की कज़िन थी, तब मेरा मूड फिर से ऑफ हो गया। साली को भी अभी आना था और में वहां से निकल गया और मन में सोचा कि साला आज दिन ही खराब है।
फिर रात को जब में सोने जा रहा था, तब किसी के नंबर से मैसेज आया तो में समझ गया कि वो त्रप्ति का नंबर ही होगा। फिर मैंने भी मैसेज किया कि यार अभी से गुड नाईट तो जवाब आया कि हाँ यह टी.वी. देख रहे है। फिर मैंने कहा कि ठीक है फोन करो तो जवाब आया कि में कल करती हूँ।
फिर अगले दिन 10 बजे मैसेज आया तो मैंने भी जवाब दिया और बोला कि क्या में घर पर आ सकता हूँ? तो वो बोली कि नहीं बाबा, आज मम्मी पापा आ रहे है तो उसकी यह बात सुनकर मेरा मूड ऑफ हो गया। मेरी किस्मत ही साली खराब है कि वो दोनों भी दो दिन पहले ही आ गये और फिर उनको मैंने कोई मैसेज नहीं किया। फिर कुछ देर में उसका फोन आ गया और त्रप्ति बोली कि क्या हुआ इतनी देर हो गई, तुमने कोई मैसेज नहीं किया? तो मैंने झूठ बोला कि मुझे कोई जरूरी काम था और मैंने उससे इधर उधर की बातें की, लेकिन मेरा मन उसको चोदने का था, लेकिन में क्या करता? मुझे वो मौका मिल भी नहीं रहा था, लेकिन मेरे सेक्स की इच्छा तो माधुरी पूरी कर दे, लेकिन उस वक़्त भी में माधुरी को भी त्रप्ति समझकर ही चोद रहा था। मुझे उसका तो जैसे नशा हो गया था, लेकिन हम दोनों का अफेयर चलता रहा और बस हुआ कुछ नहीं था। उस किस के अलावा यह सब 7 महीने तक चलता रहा। फिर एक दिन मुझे अपनी पार्टी से मिलने बाहर जाना पड़ा। मैंने ऐसे ही त्रप्ति से पूछा कि यार तू चल रही है क्या तो उसने मना कर दिया। वैसे यह बात में भी जानता था कि वो मना ही करेगी, लेकिन जिस दिन मुझे निकलना था, उस दिन अनुज का कॉल आया कि मेरे साथ बाहर कौन चल रहा है? तो मैंने कहा कि में अकेला कार से जा रहा हूँ और फिर मैंने पूछा कि क्यों क्या हुआ कोई काम है क्या? (हम दोस्त लोग रोज रात को मिलते है तो उसे भी पता था कि में बाहर जा रहा हूँ) तो अनुज बोला कि हाँ तेरी भाभी को भी उसके कज़िन के घर जाना है। फिर में एकदम बहुत खुश भी हुआ और मन ही मन सोचने भी लगा कि यार उसने मुझे तो बताया ही नहीं और मैंने अनुज से बोला कि ठीक है, में 30 मिनट के बाद निकलने वाला हूँ तू भाभी को लेकर मेरे घर पर आ जा और जब अनुज त्रप्ति को लेकर आया तो में क्या बोलूं? मेरी तो जान अटक गई। वो क्या हॉट लग रही थी? अब हम कार से निकल गये और थोड़ी दूर जाकर मैंने गाड़ी रोकी और बोला कि जान यह सब क्या है? तो वो हंसते हुए बोली कि अब में भी तेरे साथ ही घूम लूंगी, में बड़ा खुश हुआ और बोला कि सच? वो बोली कि हाँ और मैंने उसे हग किया और पूछा कि यह कैसे किया तो वो बोली कि वो मेरे फ्रेंड से उनकी बात करवा दी और सारा प्लान सेट कर दिया और अब मैंने उसको कुछ बोलने नहीं दिया और किस करने लगा तो उसने मुझे हटा दिया और बोली कि अब में तेरे साथ ही हूँ, पहले हम वहां पर चलते है। फिर में भी खुश था और ऐसे कार चली कि हम जल्दी ही अपनी मंजिल पर पहुंच गये, लेकिन मुझे अभी भी इंतजार करना पड़ा, क्योंकि जैसे ही हमने होटल में चेक इन किया तो मेरे बॉस रोहन कपल थे और वो आ गये। दोस्तों ये कहानी आप कामुकता डॉट कॉम पर पड़ रहे है।
फिर मैंने त्रप्ति को उनकी वाईफ से मिलवाया। फिर रोहन बोला कि क्या हम अभी काम निपटा ले, खाने के साथ यह दोनों शॉपिंग कर लेगी और फिर हम लोग भी फ्री हो जाएगें और हम अपनी सारी काम की बातें कर रहे थे और तब तक हम दोनों को 12 बज चुके थे और हम दोनों को वाईफ के कॉल आने लगे थे, लेकिन वो तो मेरी गर्लफ्रेंड थी। तभी रोहन बोला कि आपकी शादी को कितना टाईम हुआ है? तो मैंने 1 साल कहा। फिर वो बोला कि तब तो ठीक है यार। मेरी शादी को तो 4 महीने ही हुए है। फिर मैंने पूछा कि आपने शादी बहुत लेट की? तो वो बोले कि हाँ यार वो बस कुछ ऐसे ही, चलो बाकी बात कल करते है, नहीं तो मेरी वाईफ नाराज़ हो जाएगी। अब में रूम की और चल दिया और जब त्रप्ति ने दरवाजा खोला तो वो बस छोटी सी मेक्सी में थी, मेरा तो मूड वहीं फ्रेश हो गया और में सोचने लगा कि लगता है कि यह चुदने ही आई है और अब मैंने अंदर जाते ही त्रप्ति को उठा लिया और बेड पर गिराकर उसके ऊपर आ गया और किस चालू कर दिए, वो भी मेरा पूरा साथ दे रही थी। फिर धीरे धीरे उसकी मेक्सी को ऊपर करके उसकी कोमल जांघो को सहला रहा था और हमारा किस तो ऐसा चल रहा था कि बस हम एक दूसरे में खा जाएगें, उसके किस करने से मुझे लगा कि उसने भी मेरी तरह बहुत टाईम से सेक्स नहीं किया है।
अब में थोड़ा नीचे आया और उसकी जांघ पर किस करने लगा और मेरा एक हाथ त्रप्ति की चूत को पेंटी के ऊपर से घिस रहा था। वो आखें बंद करके मेरी हर एक हरकतो का मज़ा ले रही थी। फिर में उसके ऊपर से हटा और उठ गया और में केवल अंडरवियर में आ गया। मेरा लंड इस हाल में था कि बस अब माल बाहर निकाल ही देगा तो त्रप्ति ने मुझे अंडरवियर में ऊपर से नीचे तक देखा और उसने भी खड़ी होकर अपनी मेक्सी को निकाल दिया। वाह क्या मस्त बूब्स थे और उसके खड़े हुए निप्पल आआआआअहह मेरी तो बस जान निकल रही थी और वो केवल पेंटी में थी और त्रप्ति पास आकर मुझसे चिपक गयी, तब मैंने उसके बाल खोल दिए और जो हम दोनों के अंदर गर्मी थी, उसके कारण हम दोनों ज़्यादा देर चिपक ना सके, अब वो मुझसे बोलती है कि राहुल क्या बॉडी है तेरी? तो में बोला कि तुम भी कोई कम नहीं हो, यह देखो मेरे इसकी हालत को, अब इसको सम्भालो। फिर उसने अंडरवियर के ऊपर से ही मेरे लंड को पकड़ लिया और हल्के से हिलाने लगी और मेरी छाती को किस कर रही थी, क्या लग रहा था? अब वो धीरे से नीचे बैठी और मेरे अंडरवियर को निकाल दिया और मेरे लंड को देखकर बोली कि मुझे एकदम सही अंदाज था कि यह ऐसा ही निकलेगा एकदम मोटा, लंबा और उसने मेरे लंड को किस किया तो मेरे लंड ने भी झटका देकर उसकी चूत को सलामी दे दी, लेकिन अब त्रप्ति रुकी नहीं और उसको अपने होंठो से बहुत प्यार किया। गजब की तड़प थी यार उसमे, वो उसे कभी धीरे तो कभी तेज़ी से चूसने लगी। मेरी तो बस जान ही नहीं निकली और अब मुझसे तो नहीं रुका गया और मैंने त्रप्ति को बिस्तर पर लेटा दिया और उसके पैर चूमते हुए चूत तक पहुंच गया और उसकी पेंटी को निकाल दिया। उसकी छोटी सी कम चुदी हुई चूत थी, बिल्कुल गुलाबी सी। फिर मैंने अपना मुहं चूत पर रखा और चूसने लगा। वो सिसकियाँ लेने लगी और अपनी चूत को उठा उठाकर मुझसे चुसवाने लगी, लेकिन मैंने कुछ ही देर तक चूसा और इतने में वो झड़ गई और अब में ऊपर आया और उसके बूब्स को दबाने सहलाने लगा। फिर वो बोली कि जान और दबाओ हाँ और ज़ोर से, इनका सारा रस पी लो और फिर मैंने वैसा ही किया और फिर से त्रप्ति को तैयार किया, त्रप्ति के बूब्स ऐसे थे कि किसी को भी जोश में ला दे। फिर मैंने त्रप्ति की कमर के नीचे एक तकिया लगाया और लंड को चूत पर रखा और एक हल्का सा धक्का दिया तो त्रप्ति बोली कि थोड़ा प्यार से जान, लंड मेरी चूत में बहुत कम अंदर गया है।
फिर मैंने एक झटका दिया और 4 इंच तक लंड को अंदर घुसा दिया, त्रप्ति उईईईईइ माँ अह्ह्ह्हह उफ्फ्फ्फफ्फ्फ्फ़ धीरे बोला ना, लेकिन में नहीं रुका और एक तेज झटका दिया और पूरा लंड फिट हो गया। फिर वो ज़ोर ज़ोर से चीखने चिल्लाने लगी, आउुुुऊकचह माँ मर गई राहुल आह्ह्ह्हहहह उसके थोड़े आंसू भी निकल आए, लेकिन वो कुछ देर में ठीक हुई और मैंने नीचे से तकिया निकाल दिया और उसके ऊपर आकर किस करते हुए चुदाई करने लगा, वो भी मज़े से मेरे लंड को अंदर ले रही थी। दोस्तों वाकई में उसकी चूत बहुत टाईट थी और अब में पूरे ज़ोर से, तेज तो कभी धीरे धीरे चुदाई करता रहा और अब वो झड़ने वाली थी तो उसने मेरी कमर पर अपने दोनों पैरों से कैंची मारी और बोली कि जान और तेज करो। फिर मैंने अपनी स्पीड बड़ाई और तेज धक्के मारने लगा और कुछ ही पल में वो बोली कि अब बस में जाने वाली हूँ तो में रुका और लंड को बाहर खींचकर तेज झटका दिया और उसका आआहहहहहह के साथ गरम पानी मेरे लंड को महसूस हुआ और जब मैंने त्रप्ति के चेहरे को देखा तो वो बहुत ठीक लग रही थी, लेकिन में झड़ा नहीं था। फिर मैंने त्रप्ति को किस करना चालू किया और धीरे धीरे धक्के मारकर फिर से गरम किया। अब हमारी चुदाई बहुत धीरे चल रही थी और मज़ा ज़्यादा आ रहा था।
फिर वो बस उसी में मुझे किस करने लगी और त्रप्ति मेरे ऊपर आ गयी, अब वो स्माईल देती हुई मेरे लंड पर कूदने लगी। आआहह क्या पूरा लंड जड़ तक घुस रहा था और थोड़ी देर कूदने के बाद वो रुककर मुझे किस करने लगी, लेकिन में नहीं रुका नीचे से झटके देने लगा, बस अब मेरा भी झड़ने का टाईम था। फिर मैंने त्रप्ति से बोला कि जान में झड़ने वाला हूँ तो वो बोली कि मेरे ऊपर आ जाओ और पूरा वीर्य चूत के अंदर ही डालना और अब मैंने फिर ऊपर होकर एक साथ ही लंड अंदर उतारकर ताबड़तोड़ धक्कों के साथ चोदने लगा, मुझे उस वक़्त ना जाने क्या हो गया था? कुछ नहीं पता, लेकिन उस आखरी चुदाई के टाईम मुझे त्रप्ति की हल्की हल्की चीख सुनाई दे रही थी और में उसकी चूत में लगातार 40 मिनट की चुदाई का माल छोड़कर गिरा रहा और अब हम ऐसे ही रहे और लेटे रहे। थोड़ी देर बाद त्रप्ति बोली कि राहुल तुमको क्या हो गया था? मुझे बाद में कितना दर्द हुआ? तो मैंने बोला कि यार सॉरी, तो वो बोली सॉरी किस लिए? मुझे उसमे भी मज़ा आ रहा था और तुमने तो आज मेरी ऐसी प्यास बुझाई है कि में कभी भी नहीं भूल सकती। फिर में बोला कि जानेमन अभी तो और भी बाकी है। फिर हम एक बार और चुदाई में लग गये ।।
धन्यवाद …
फिर रात को जब में सोने जा रहा था, तब किसी के नंबर से मैसेज आया तो में समझ गया कि वो त्रप्ति का नंबर ही होगा। फिर मैंने भी मैसेज किया कि यार अभी से गुड नाईट तो जवाब आया कि हाँ यह टी.वी. देख रहे है। फिर मैंने कहा कि ठीक है फोन करो तो जवाब आया कि में कल करती हूँ।
फिर अगले दिन 10 बजे मैसेज आया तो मैंने भी जवाब दिया और बोला कि क्या में घर पर आ सकता हूँ? तो वो बोली कि नहीं बाबा, आज मम्मी पापा आ रहे है तो उसकी यह बात सुनकर मेरा मूड ऑफ हो गया। मेरी किस्मत ही साली खराब है कि वो दोनों भी दो दिन पहले ही आ गये और फिर उनको मैंने कोई मैसेज नहीं किया। फिर कुछ देर में उसका फोन आ गया और त्रप्ति बोली कि क्या हुआ इतनी देर हो गई, तुमने कोई मैसेज नहीं किया? तो मैंने झूठ बोला कि मुझे कोई जरूरी काम था और मैंने उससे इधर उधर की बातें की, लेकिन मेरा मन उसको चोदने का था, लेकिन में क्या करता? मुझे वो मौका मिल भी नहीं रहा था, लेकिन मेरे सेक्स की इच्छा तो माधुरी पूरी कर दे, लेकिन उस वक़्त भी में माधुरी को भी त्रप्ति समझकर ही चोद रहा था। मुझे उसका तो जैसे नशा हो गया था, लेकिन हम दोनों का अफेयर चलता रहा और बस हुआ कुछ नहीं था। उस किस के अलावा यह सब 7 महीने तक चलता रहा। फिर एक दिन मुझे अपनी पार्टी से मिलने बाहर जाना पड़ा। मैंने ऐसे ही त्रप्ति से पूछा कि यार तू चल रही है क्या तो उसने मना कर दिया। वैसे यह बात में भी जानता था कि वो मना ही करेगी, लेकिन जिस दिन मुझे निकलना था, उस दिन अनुज का कॉल आया कि मेरे साथ बाहर कौन चल रहा है? तो मैंने कहा कि में अकेला कार से जा रहा हूँ और फिर मैंने पूछा कि क्यों क्या हुआ कोई काम है क्या? (हम दोस्त लोग रोज रात को मिलते है तो उसे भी पता था कि में बाहर जा रहा हूँ) तो अनुज बोला कि हाँ तेरी भाभी को भी उसके कज़िन के घर जाना है। फिर में एकदम बहुत खुश भी हुआ और मन ही मन सोचने भी लगा कि यार उसने मुझे तो बताया ही नहीं और मैंने अनुज से बोला कि ठीक है, में 30 मिनट के बाद निकलने वाला हूँ तू भाभी को लेकर मेरे घर पर आ जा और जब अनुज त्रप्ति को लेकर आया तो में क्या बोलूं? मेरी तो जान अटक गई। वो क्या हॉट लग रही थी? अब हम कार से निकल गये और थोड़ी दूर जाकर मैंने गाड़ी रोकी और बोला कि जान यह सब क्या है? तो वो हंसते हुए बोली कि अब में भी तेरे साथ ही घूम लूंगी, में बड़ा खुश हुआ और बोला कि सच? वो बोली कि हाँ और मैंने उसे हग किया और पूछा कि यह कैसे किया तो वो बोली कि वो मेरे फ्रेंड से उनकी बात करवा दी और सारा प्लान सेट कर दिया और अब मैंने उसको कुछ बोलने नहीं दिया और किस करने लगा तो उसने मुझे हटा दिया और बोली कि अब में तेरे साथ ही हूँ, पहले हम वहां पर चलते है। फिर में भी खुश था और ऐसे कार चली कि हम जल्दी ही अपनी मंजिल पर पहुंच गये, लेकिन मुझे अभी भी इंतजार करना पड़ा, क्योंकि जैसे ही हमने होटल में चेक इन किया तो मेरे बॉस रोहन कपल थे और वो आ गये। दोस्तों ये कहानी आप कामुकता डॉट कॉम पर पड़ रहे है।
फिर मैंने त्रप्ति को उनकी वाईफ से मिलवाया। फिर रोहन बोला कि क्या हम अभी काम निपटा ले, खाने के साथ यह दोनों शॉपिंग कर लेगी और फिर हम लोग भी फ्री हो जाएगें और हम अपनी सारी काम की बातें कर रहे थे और तब तक हम दोनों को 12 बज चुके थे और हम दोनों को वाईफ के कॉल आने लगे थे, लेकिन वो तो मेरी गर्लफ्रेंड थी। तभी रोहन बोला कि आपकी शादी को कितना टाईम हुआ है? तो मैंने 1 साल कहा। फिर वो बोला कि तब तो ठीक है यार। मेरी शादी को तो 4 महीने ही हुए है। फिर मैंने पूछा कि आपने शादी बहुत लेट की? तो वो बोले कि हाँ यार वो बस कुछ ऐसे ही, चलो बाकी बात कल करते है, नहीं तो मेरी वाईफ नाराज़ हो जाएगी। अब में रूम की और चल दिया और जब त्रप्ति ने दरवाजा खोला तो वो बस छोटी सी मेक्सी में थी, मेरा तो मूड वहीं फ्रेश हो गया और में सोचने लगा कि लगता है कि यह चुदने ही आई है और अब मैंने अंदर जाते ही त्रप्ति को उठा लिया और बेड पर गिराकर उसके ऊपर आ गया और किस चालू कर दिए, वो भी मेरा पूरा साथ दे रही थी। फिर धीरे धीरे उसकी मेक्सी को ऊपर करके उसकी कोमल जांघो को सहला रहा था और हमारा किस तो ऐसा चल रहा था कि बस हम एक दूसरे में खा जाएगें, उसके किस करने से मुझे लगा कि उसने भी मेरी तरह बहुत टाईम से सेक्स नहीं किया है।
अब में थोड़ा नीचे आया और उसकी जांघ पर किस करने लगा और मेरा एक हाथ त्रप्ति की चूत को पेंटी के ऊपर से घिस रहा था। वो आखें बंद करके मेरी हर एक हरकतो का मज़ा ले रही थी। फिर में उसके ऊपर से हटा और उठ गया और में केवल अंडरवियर में आ गया। मेरा लंड इस हाल में था कि बस अब माल बाहर निकाल ही देगा तो त्रप्ति ने मुझे अंडरवियर में ऊपर से नीचे तक देखा और उसने भी खड़ी होकर अपनी मेक्सी को निकाल दिया। वाह क्या मस्त बूब्स थे और उसके खड़े हुए निप्पल आआआआअहह मेरी तो बस जान निकल रही थी और वो केवल पेंटी में थी और त्रप्ति पास आकर मुझसे चिपक गयी, तब मैंने उसके बाल खोल दिए और जो हम दोनों के अंदर गर्मी थी, उसके कारण हम दोनों ज़्यादा देर चिपक ना सके, अब वो मुझसे बोलती है कि राहुल क्या बॉडी है तेरी? तो में बोला कि तुम भी कोई कम नहीं हो, यह देखो मेरे इसकी हालत को, अब इसको सम्भालो। फिर उसने अंडरवियर के ऊपर से ही मेरे लंड को पकड़ लिया और हल्के से हिलाने लगी और मेरी छाती को किस कर रही थी, क्या लग रहा था? अब वो धीरे से नीचे बैठी और मेरे अंडरवियर को निकाल दिया और मेरे लंड को देखकर बोली कि मुझे एकदम सही अंदाज था कि यह ऐसा ही निकलेगा एकदम मोटा, लंबा और उसने मेरे लंड को किस किया तो मेरे लंड ने भी झटका देकर उसकी चूत को सलामी दे दी, लेकिन अब त्रप्ति रुकी नहीं और उसको अपने होंठो से बहुत प्यार किया। गजब की तड़प थी यार उसमे, वो उसे कभी धीरे तो कभी तेज़ी से चूसने लगी। मेरी तो बस जान ही नहीं निकली और अब मुझसे तो नहीं रुका गया और मैंने त्रप्ति को बिस्तर पर लेटा दिया और उसके पैर चूमते हुए चूत तक पहुंच गया और उसकी पेंटी को निकाल दिया। उसकी छोटी सी कम चुदी हुई चूत थी, बिल्कुल गुलाबी सी। फिर मैंने अपना मुहं चूत पर रखा और चूसने लगा। वो सिसकियाँ लेने लगी और अपनी चूत को उठा उठाकर मुझसे चुसवाने लगी, लेकिन मैंने कुछ ही देर तक चूसा और इतने में वो झड़ गई और अब में ऊपर आया और उसके बूब्स को दबाने सहलाने लगा। फिर वो बोली कि जान और दबाओ हाँ और ज़ोर से, इनका सारा रस पी लो और फिर मैंने वैसा ही किया और फिर से त्रप्ति को तैयार किया, त्रप्ति के बूब्स ऐसे थे कि किसी को भी जोश में ला दे। फिर मैंने त्रप्ति की कमर के नीचे एक तकिया लगाया और लंड को चूत पर रखा और एक हल्का सा धक्का दिया तो त्रप्ति बोली कि थोड़ा प्यार से जान, लंड मेरी चूत में बहुत कम अंदर गया है।
फिर मैंने एक झटका दिया और 4 इंच तक लंड को अंदर घुसा दिया, त्रप्ति उईईईईइ माँ अह्ह्ह्हह उफ्फ्फ्फफ्फ्फ्फ़ धीरे बोला ना, लेकिन में नहीं रुका और एक तेज झटका दिया और पूरा लंड फिट हो गया। फिर वो ज़ोर ज़ोर से चीखने चिल्लाने लगी, आउुुुऊकचह माँ मर गई राहुल आह्ह्ह्हहहह उसके थोड़े आंसू भी निकल आए, लेकिन वो कुछ देर में ठीक हुई और मैंने नीचे से तकिया निकाल दिया और उसके ऊपर आकर किस करते हुए चुदाई करने लगा, वो भी मज़े से मेरे लंड को अंदर ले रही थी। दोस्तों वाकई में उसकी चूत बहुत टाईट थी और अब में पूरे ज़ोर से, तेज तो कभी धीरे धीरे चुदाई करता रहा और अब वो झड़ने वाली थी तो उसने मेरी कमर पर अपने दोनों पैरों से कैंची मारी और बोली कि जान और तेज करो। फिर मैंने अपनी स्पीड बड़ाई और तेज धक्के मारने लगा और कुछ ही पल में वो बोली कि अब बस में जाने वाली हूँ तो में रुका और लंड को बाहर खींचकर तेज झटका दिया और उसका आआहहहहहह के साथ गरम पानी मेरे लंड को महसूस हुआ और जब मैंने त्रप्ति के चेहरे को देखा तो वो बहुत ठीक लग रही थी, लेकिन में झड़ा नहीं था। फिर मैंने त्रप्ति को किस करना चालू किया और धीरे धीरे धक्के मारकर फिर से गरम किया। अब हमारी चुदाई बहुत धीरे चल रही थी और मज़ा ज़्यादा आ रहा था।
फिर वो बस उसी में मुझे किस करने लगी और त्रप्ति मेरे ऊपर आ गयी, अब वो स्माईल देती हुई मेरे लंड पर कूदने लगी। आआहह क्या पूरा लंड जड़ तक घुस रहा था और थोड़ी देर कूदने के बाद वो रुककर मुझे किस करने लगी, लेकिन में नहीं रुका नीचे से झटके देने लगा, बस अब मेरा भी झड़ने का टाईम था। फिर मैंने त्रप्ति से बोला कि जान में झड़ने वाला हूँ तो वो बोली कि मेरे ऊपर आ जाओ और पूरा वीर्य चूत के अंदर ही डालना और अब मैंने फिर ऊपर होकर एक साथ ही लंड अंदर उतारकर ताबड़तोड़ धक्कों के साथ चोदने लगा, मुझे उस वक़्त ना जाने क्या हो गया था? कुछ नहीं पता, लेकिन उस आखरी चुदाई के टाईम मुझे त्रप्ति की हल्की हल्की चीख सुनाई दे रही थी और में उसकी चूत में लगातार 40 मिनट की चुदाई का माल छोड़कर गिरा रहा और अब हम ऐसे ही रहे और लेटे रहे। थोड़ी देर बाद त्रप्ति बोली कि राहुल तुमको क्या हो गया था? मुझे बाद में कितना दर्द हुआ? तो मैंने बोला कि यार सॉरी, तो वो बोली सॉरी किस लिए? मुझे उसमे भी मज़ा आ रहा था और तुमने तो आज मेरी ऐसी प्यास बुझाई है कि में कभी भी नहीं भूल सकती। फिर में बोला कि जानेमन अभी तो और भी बाकी है। फिर हम एक बार और चुदाई में लग गये ।।
धन्यवाद …
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